इस अध्याय के माध्यम से हम जानेंगे गोविन्द शंकर कुरुप (Govind Shankar Kurup) से जुड़े महत्वपूर्ण एवं रोचक तथ्य जैसे उनकी व्यक्तिगत जानकारी, शिक्षा तथा करियर, उपलब्धि तथा सम्मानित पुरस्कार और भी अन्य जानकारियाँ। इस विषय में दिए गए गोविन्द शंकर कुरुप से जुड़े महत्वपूर्ण तथ्यों को एकत्रित किया गया है जिसे पढ़कर आपको प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने में मदद मिलेगी। Govind Shankar Kurup Biography and Interesting Facts in Hindi.
गोविन्द शंकर कुरुप का संक्षिप्त सामान्य ज्ञान
नाम | गोविन्द शंकर कुरुप (Govind Shankar Kurup) |
उपनाम | महाकवि जी |
जन्म की तारीख | 03 जून |
जन्म स्थान | नेथोड,कोचीन |
निधन तिथि | 02 फरवरी |
माता व पिता का नाम | वदक्कानी मरारत लक्ष्मीकुट्टी मरसियार / नेल्लिक्कपिल्ली वारायत शंकरा वारियर |
उपलब्धि | 1965 - भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित प्रथम साहित्यकार |
पेशा / देश | पुरुष / साहित्यकार / भारत |
गोविन्द शंकर कुरुप - भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित प्रथम साहित्यकार (1965)
गोविन्द शंकर कुरुप या जी शंकर कुरुप मलयालम भाषा के प्रसिद्ध कवि थे। उनकी प्रसिद्ध रचना ‘ओटक्कुष़ल" अर्थात ‘बाँसुरी" भारत सरकार द्वारा दिए जाने वाले साहित्य के सर्वोच्च सम्मान ‘ज्ञानपीठ पुरस्कार"से सम्मानित हुई थी। ‘महाकवि" गोविंद शंकर कुरुप की 40 से अधिक मौलिक और अनूदित कृतियाँ प्रकाशित हो चुकी हैं। , जिसमें 25 काव्यशास्त्र, लघु कथाएँ, संस्मरण, नाटक और गद्य शामिल हैं इसके पश्चात भारत सरकार ने उन्हें पद्म भूषण के तीसरे सर्वोच्च नागरिक सम्मान से सम्मानित किया ।
गोविन्द शंकर कुरुप प्रश्नोत्तर (FAQs):
गोविन्द शंकर कुरुप का जन्म 03 जून 1901 को नेथोड,कोचीन में हुआ था।
गोविन्द शंकर कुरुप को 1965 में भारतीय ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित प्रथम साहित्यकार के रूप में जाना जाता है।
गोविन्द शंकर कुरुप की मृत्यु 02 फरवरी 1978 को हुई थी।
गोविन्द शंकर कुरुप के पिता का नाम नेल्लिक्कपिल्ली वारायत शंकरा वारियर था।
गोविन्द शंकर कुरुप की माता का नाम वदक्कानी मरारत लक्ष्मीकुट्टी मरसियार था।
गोविन्द शंकर कुरुप को महाकवि जी के उपनाम से जाना जाता है।